
उत्तराखंड के चमोली जिले में जोशीमठ के तपोवन क्षेत्र में नंदा देवी ग्लेशियर का एक हिस्सा रविवार सुबह को टूट गया और इससे अलकनंदा नदी पर बने ऋषिगंगा बांध को नुकसान पहुंचा है. उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने बताया कि पांच लोग अपने 180 भेड़ों और बकरियों के साथ फ्लैश फ्लड में बह गए हैं. उनका आकलन है कि करीब 125 लोग लापता हैं. यह संख्या बढ़ सकती है.
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने एलान किया कि मृतकों के परिजनों को 4 लाख रुपये की वित्तीय मदद दी जाएगी. उन्होंने बताया कि पीएम नरेंद्र मोदी ने हरसंभव मदद का भरोसा दिया है, उन्होंने दो बार फोन किया. उन्हें गृह मंत्री अमित शाह और राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने भी फोन किया है.
पीएम नरेंद्र मोदी ने PMNRF से चमोली, उत्तराखंड मेंं मृतकों के परिजनों को 2 लाख रुपये और गंभीर रूप से घायलों को 50 हजार रुपये के मुआवजे का एलान किया है.
इससे पहले स्टेट डिसास्टर रिस्पॉन्स फोर्स की डीआईजी रिद्धिम अग्रवाल ने कहा था कि ऋषिगंगा पावर प्रोजेक्ट पर काम कर रहे कम से कम करीब 150 मजदूरों के गायब होने की संभावना है. उन्होंने कहा कि पावर प्रोजेक्ट के प्रतिनिधियों ने उन्हें बताया कि वे प्रोजेक्ट की जगह पर करीब 150 कर्मियों से संपर्क नहीं कर पाए हैं. इसके अलावा कम से कम 50 लोगों के ऋषिगंगा में एक टनल में फंसे हैं.
पीटीआई के मुताबिक, अधिकारियों ने कहा है कि पावर प्रोजेक्ट टनल में फंसे 16 मजदूरों को बचा लिया गया है. ITBP के जवानों ने चमोली के पास तपोवन बांध जाकर 16-17 लोगों को बचाया, जो फंसे हुए थे.
मुख्यमंत्री ने गृह मंत्री से बात की
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्रालय से बात की है और वे जल्द गृह मंत्री से बात करेंगे. उन्होंने हर संभव मदद का भरोसा दिया है. रावत ने राज्य आपदा प्रबंधन और चमोली प्रशासन के अधिकारियों से भी बात की है. सभी जिले हाई अलर्ट पर हैं और लोगों को गंगा नदी के करीब नहीं जाने की चेतावनी दी गई है. उन्होंने लोगों से पुराने बाढ़ के वीडियो के जरिए अफवाह नहीं फैलाने की भी अपील की है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट करके बताया है कि वे उत्तराखंड में इस दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति पर लगातार निगरानी कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि भारत उत्तराखंड के साथ खड़ा है और राष्ट्र वहां सभी लोगों की सुरक्षा के लिए प्रार्थना करता है. मोदी ने कहा कि वे लगातार वरिष्ठ अथॉरिटीज से बात कर और NDRF की नियुक्ति, बचाव कार्य और राहत ऑपरेशन पर अपडेट ले रहे हैं.
Am constantly monitoring the unfortunate situation in Uttarakhand. India stands with Uttarakhand and the nation prays for everyone’s safety there. Have been continuously speaking to senior authorities and getting updates on NDRF deployment, rescue work and relief operations.
— Narendra Modi (@narendramodi) February 7, 2021
उत्तराखंड के मुख्य सचिव ओम प्रकाश ने कहा कि 100 से 150 लोगों के हाताहात होने का डर है. ITBP, SDRF और NDRF जगह पर पहुंच चुके हैं. रेड अलर्ट जारी कर दिया गया है.
गृह मंत्री अमित शाह ने भी की समीक्षा
गृह मंत्री अमित शाह ने ट्वीट करके कहा कि उत्तराखंड में प्राकृतिक आपदा की सूचना के संबंध में उन्होंने मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत, DG, ITBP और DG, NDRF से बात की है. उन्होंने बताया कि सभी संबंधित अधिकारी लोगों को सुरक्षित करने में युद्धस्तर पर काम कर रहे हैं. NDRF की टीमें बचाव कार्य के लिए निकल गई हैं. देवभूमि को हर सम्भव मदद दी जाएगी. NDRF की कुछ और टीमें दिल्ली से एयरलिफ्ट करके उत्तराखंड भेजी जा रही हैं. हम वहाँ की स्थिति को निरंतर मॉनिटर कर रहे हैं.
#WATCH | Water level in Dhauliganga river rises suddenly following avalanche near a power project at Raini village in Tapovan area of Chamoli district. #Uttarakhand pic.twitter.com/syiokujhns
— ANI (@ANI) February 7, 2021
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