मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज मुख्यमंत्री जन कल्याण संबल योजना को रिलॉन्च किया. इसके तहत 1863 हितग्राहियों के खाते में 41.29 करोड़ रुपये ई-भुगतान के माध्यम से ट्रांसफर किए गए. असंगठित क्षेत्र के कामगारों के लिए 2018 में मुख्यमंत्री जन कल्याण संबल योजना शुरू की गई थी. बाद में कमलनाथ सरकार के सत्ता में आने के बाद इस योजना को बंद कर दिया गया था और नया सवेरा योजना शुरू की थी.
लेकिन अब मध्य प्रदेश में फिर से शिवराज सिंह चौहान की सरकार का राज है. लिहाजा राज्य में जन कल्याण संबल योजना को पुन: प्रभावी तरीके से 5 मई से शुरू किया गया है. इस मौके पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने कहा कि संबल योजना हमारे गरीब भाई-बहनों के परिवारों को नया जीवन देने वाली योजना है. जन्म से पहले से लेकर जिंदगी के बाद तक इस योजना का गरीब परिवारों को लाभ मिलेगा. इस योजना का लाभ लेने के लिए असंगठित क्षेत्र में नियोजित श्रमिक अपनी ग्राम पंचायत/जोन में संपर्क कर अपना पंजीयन करवा सकते हैं.
‘सुपर 5000’ योजना
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि संबल योजना में हम एक नई “सुपर 5000” योजना को जोड़ रहे हैं. संबल परिवारों के ऐसे 5000 बच्चे जो 12वीं में सबसे ज्यादा नंबर लाएंगे, उन्हें 30000 रुपये प्रोत्साहन राशि के रूप में अलग से दिए जाएंगे. संबल योजना में संबल परिवारों के ऐसे बच्चे जो राष्ट्रीय स्तर की खेल प्रतियोगिताओं में भाग लेंगे, उन्हें 50 हजार रुपये दिए जाएंगे.
प्रसूति सहायता के तहत 14000 रु तक की मदद
चौहान ने कहा कि जब हम एक महामारी से जूझ रहे हैं, लोगों की जिन्दगी में सहारा देने वाली संबल योजना को हम फिर से शुरू कर रहे हैं. जब संबल योजना की पात्र कोई गरीब किसी शिशु को जन्म देगी तो जन्म देने से पहले 4 हजार और जन्म देने के बाद 12 हजार रुपये उनके खाते में आएंगे.
कौन है लाभ लेने के लिए पात्र
मुख्यमंत्री जन कल्याण (संबल) योजना में असंगठित श्रमिकों को लाभांवित करने का प्रावधान है. असंगठित श्रमिक से आशय उस व्यक्ति से है जो 18 से 60 वर्ष की आयु का हो एवं जो नौकरी, स्वरोजगार, घरों मे कार्य, या वेतन हेतु अन्य अस्थाई प्रकृति के कार्य कर रहा हो; किसी ऐसे कार्य मे नियोजित हो जो किसी एजेंसी, ठेकेदार के माध्यम से या प्रयत्क्ष रूप से किया जा रहा हो और जिन्हें बीमा, भविष्य निधि, ग्रेच्युटी, पेंशन आदि सामाजिक सुरक्षा प्रावधानों का लाभ प्राप्त नहीं होता हो.
ऐसे व्यक्ति जो 01 हेक्टेयर से अधिक कृषि भूमि धारित करते हों अथवा शासकीय सेवा मे कार्यरत हो अथवा आयकर दाता हों, वे इस योजना मे असंगठित श्रमिक नहीं माने जाएंगे. वे हितलाभ प्राप्त करने के लिए अपात्र होंगे.
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संबल योजना के लाभ
योजना में श्रमिक की असामयिक मृत्यु पर अनुग्रह सहायता, अंत्येष्टि सहायता और अपंगता पर आर्थिक सहायता का प्रावधान है. संबल योजना में 5 हजार रुपये की राशि अंत्येष्टि के लिए सहायता के रूप में दी जाती थी. सामान्य मृत्यु पर 2 लाख रुपये की राशि और दुर्घटना से मृत्यु होने पर चार लाख रुपये की राशि परिजन को देने का प्रावधान किया गया था. स्थाई अपंगता पर 2 लाख रुपये की अनुग्रह सहायता और आंशिक स्थाई अपंगता पर एक लाख रुपये की अनुग्रह सहायता देने का प्रावधान किया गया. उन्नत व्यवसाय के लिए उपकरण क्रय करने बैंक से प्राप्त ऋण का 10 फीसदी अथवा 5 हजार रुपये, जो भी कम हो, वह भी इस योजना में देने का प्रावधान किया गया था.
इसके अलावा शिक्षा प्रोत्साहन योजना, बकाया बिजली बिल माफी योजना, सरल बिजली बिल योजना, निशुल्क चिकित्सा प्रसूति सहायता योजना, रोजगारोन्मुखी प्रशिक्षण योजना भी जन कल्याण संबल योजना के तहत चलती हैं.