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CARTOSAT-3: भारत के कार्टोसैट-3 सैटेलाइट का सफल प्रक्षेपण, मिलेंगी धरती की हाई रिजॉल्यूशन तस्वीरें

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कार्टोसैट-3 की सफल लॉन्चिंग पर इसरो को बधाई दी है.

ISRO successfully launches CARTOSAT 3 with 13 US nano satellites pm modi congratulates
चंद्रयान-2 के बाद इसरो का यह पहला मिशन है. (Image: ISRO)

इसरो (ISRO) ने पृथ्वी पर नजर रखने वाले और मानचित्रण सैटेलाइट कार्टोसैट-3 (CARTOSAT-3) और अमेरिका के 13 व्यावसायिक नैनो सैटेलाइट को बुधवार को सफलतापूर्वक अंतरिक्ष की कक्षा में स्थापित किया. बादलों के बीच 44.4 मीटर लंबे PSLV- C47 रॉकेट ने उपग्रहों को लेकर यहां दूसरे लॉन्च पैड से सुबह 9:28 मिनट पर उड़ान भरी. भारत के अब तक के सबसे जटिल और पृथ्वी की बेहद स्पष्ट तस्वीर लेने वाला एडवांस सैटेलाइट कार्टोसैट-3 उड़ान भरने के 17 मिनट और 46 सेकंड बाद इसे अंतरिक्ष की कक्षा में स्थापित हो गया. चंद्रयान-2 के बाद इसरो का यह पहला मिशन है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने कार्टोसैट-3 की सफल लॉन्चिंग पर इसरो को बधाई दी है.

इसरो ने बताया कि अमेरिका के सभी 13 नैनो सैटेलाइट को उड़ान भरने के 26 मिनट और 56 सेकंड बाद कक्षा में स्थापित कर दिया गया. जैसे ही कार्टोसैट-3 को निर्धारित कक्षा में स्थापित किया गया तो इसरो अध्यक्ष के. सिवन और अन्य वैज्ञानिक खुशी से झूम उठे.

बाद में अभियान नियंत्रण केंद्र से सिवन ने कहा, ‘‘मुझे यह एलान करते हुए अत्यधिक खुशी हो रही है कि पीएसएलवी-सी47 ने कार्टोसैट-3 और 13 कस्टमर सैटेलाइट को निर्धारित कक्षा में सफलतापूर्वक स्थापित कर दिया.’’ उन्होंने कहा, ‘‘कार्टोसैट-3 भारत का सर्वाधिक रेजोल्यूशन वाला उपग्रह है और अभी तक बना सबसे जटिल तथा पृथ्वी पर नजर रखने वाला आधुनिक सैटेलाइट है.’’ उन्होंने उपग्रहों पर काम करने वाली टीमों को बधाई दी.

भविष्य के अभियानों के बारे में इसरो प्रमुख ने कहा, ‘‘हमारे पास बहुत काम हैं’’ मार्च 2020 तक 13 मिशन पूरे करने हैं. इनमें छह प्रक्षेपण यान मिशन और सात उपग्रह मिशन शामिल हैं.

1625 किग्रा है Cartosat-3 का वजन

कार्टोसैट-3 का समग्र वजन 1625 किलोग्राम और मिशन पांच वर्ष का है. यह व्यापक पैमाने पर शहरी योजना, ग्रामीण संसाधन और आधारभूत ढांचे का विकास, तटीय भूमि उपयोग आदि की बढ़ती मांगों को पूरा करेगा.
इसका इस्तेमाल सैन्य उद्देश्यों के लिए भी किया जाएगा. पीएसएलवी- सी47 पीएसएलवी की ‘एक्सएल’ कान्फिग्रेशन में 21वीं उड़ान है.
पीएसएलवी- सी47 अमेरिका से 13 कॉमर्शियल नैनो सैटेलाइट को भी लेकर जाएगा. ऐसा अंतरिक्ष विभाग के न्यूस्पेस इंडिया लिमिटेड (एनएसआईएल) के साथ वाणिज्यिक व्यवस्था के तहत हो रहा है.

PM मोदी ने दी ISRO को बधाई

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसरो को कार्गोसैट 3 सैटेलाइट की सफल लॉन्चिंग पर बधाई दी है. उन्होंने ट्वीट कर कहा, ”मैं हृदय से पूरी इसरो टीम को स्वदेसी कार्गोसैट 3 सैटेलाइट के साथ अमेरिका की एक दर्जन से ज्यादा नैनो सेटेलाइट ले जा रहे PSLV-C47 की एक और सफल लॉन्चिंग पर बधाई देता हूं.” कार्गोसेट 3 तीसरी पीढ़ी का आधुनिक सैटेलाइट है, जो हाई रिजॉल्यूशन तस्तीरें लेने में सक्षम है.

(Input: PTI)

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First published on: 27-11-2019 at 12:49 IST

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