Maruti Suzuki Results: देश की सबसे बड़ी कार कंपनी मारुति सुजुकी इंडिया (Maruti Suzuki India) का कंसालिडेटेड नेट प्रॉफिट मार्च 2022 तिमाही में 51.14 फीसदी बढ़ गया. आज (29 अप्रैल) घोषित पिछली तिमाही के नतीजों के मुताबिक कंपनी ने जनवरी-मार्च 2022 में 1875.8 करोड़ रुपये का मुनाफा हासिल किया था जबकि पिछले साल की समान अवधि में यह आंकड़ा 1,241.1 करोड़ रुपये था.
हालांकि कंपनी की बिक्री सालाना आधार पर 0.1 फीसदी घट गई. सबसे अधिक घरेलू बिक्री पर पड़ा और यह 8 फीसदी कम रही जबकि निर्यात किसी भी तिमाही में सबसे अधिक मार्च तिमाही में रहा. शेयर बाजारों को दी गई जानकारी में कंपनी ने बताया है कि बोर्ड ने वित्त वर्ष 2021-22 के लिए 60 रुपये प्रति शेयर के डिविडेंड की सिफारिश की है.
Maruti Suzuki Q4 Results की खास बातें
- कंसालिडेटेड नेट प्रॉफिट सालाना आधार पर 51.14 फीसदी बढ़कर 1,241.1 करोड़ रुपये से 1875.8 करोड़ रुपये पर पहुंच गया.
- कुल कमाई मार्च 2021 तिमाही में 24,034.5 करोड़ रुपये से बढ़कर मार्च 2022 तिमाही में 26,749.2 करोड़ रुपये हो गया.
- गाड़ियों की बिक्री 0.7 फीसदी गिर गई और 4,88,830 यूनिट्स की बिक्री हुई. सबसे अधिक प्रभावित डोमेस्टिक सेल्स हुई और पिछली तिमाही 8 फीसदी कम यानी 4,20,376 यूनिट्स की बिक्री हुई. हालांकि निर्यात रिकॉर्ड लेवल पर पहुंच गया. पिछली तिमाही कंपनी ने 68,454 गाड़ियां निर्यात की जो अब तक किसी भी तिमाही में सबसे अधिक है.
वित्त वर्ष 2021-22 में गिरा प्रॉफिट
मार्च तिमाही में कंपनी का प्रॉफिट 51 फीसदी बढ़ा है लेकिन पूरे वित्त वर्ष 2021-22 की बात करें तो कंपनी का कंसालिडेटे नेट प्रॉफिट सालाना आधार पर 4,389.1 करोड़ रुपये से 11.6 फीसदी गिरकर 3,879.5 रुपये पर फिसल गया. हालांकि कंपनी की कमाई में बढ़ोतरी हुई और वित्त वर्ष 2021-22 में कंसालिडेटेड टोटल रेवेन्यू सालाना आधार पर 70,372 करोड़ रुपये से बढ़कर 88,329.8 करोड़ रुपये हो गया. कंपनी ने पिछले वित्त वर्ष में 13.4 फीसदी अधिक 16,52,653 गाड़ियां बेची थी और घरेलू बिक्री की बात करें तो देश में 3.9 फीसदी अधिक 14,14,277 यूनिट्स की बिक्री हुई.
चिप की किल्लत के चलते 2.68 लाख बुकिंग पेंडिंग
कंपनी ने शेयर बाजारों को दी गई जानकारी में बताया कि पिछले वित्त वर्ष में चिप की किल्लत के चलते करीब 2.70 लाख गाड़ियों का उत्पादन प्रभावित हुआ. इसमें से अधिकतर घरेलू मॉडल की गाड़ियां थीं. इस वजह से पिछले वित्त वर्ष के आखिरी में यानी मार्च 2022 की समाप्ति पर 2.68 लाख ग्राहकों की बुकिंग पेंडिंग रही.
(इनपुट: बीएसई)