
इंडसइंड बैंक इस साल अबतक सेंसेक्स 30 का टॉप लूजर रहा है. इंडसइंड बैंक का शेयर इस साल सोमवार तक 72 फीसदी से ज्यादा कमजोर हो चुका है. इस दौरान शेयर में करीब 1100 रुपये की गिरावट रही. हालांकि मंगलवार यानी आज के कारोबार में शेयर में शानदार तेजी देखने को मिल रही है. तिमाही नतीजों के बाद आज शेयर 11 फीसदी तक मजबूत हुआ और यह 454.45 रुपये के स्तर तक पहुंच गया. एक्सपर्ट आगे के लिए शेयर को लेकर बुलिश हैं. उनका कहना है कि आकर्षक वैल्युएशन पर मिल रहा शेयर अगले एक साल में आउटपरफॉर्म कर सकता है. ब्रोकरेज हाउस मोतीलाल ओसवालद ने शेयर में मौजूदा भाव से 72 फीसदी ग्रोथ की उम्मीद जताई है.
सस्ते वैल्युएशन का उठाएं फायदा
ब्रोकरेज हाउस मोतीलाल ओसवाल के मुताबिक कोरोना वायरस महामारी के बीच लॉकडाउन के चलते बैंक के आपरेशन पर असर आया है. कॉरपोरेट स्ट्रेस की वजह से एसेट क्वालिटी पर भी असर पड़ रहा है. हालांकि बैंक का नेट इंटरेस्ट मार्जिन बेहतर रहा है. कोर आपरेटिंग परफॉर्मेंस भी उम्मीद से बेहतर दिखा है. क्रेडिट कास्ट आउटलुक में सुधार हुआ है. प्रोविजनिंग बढ़ाए जाने से नियर टर्म में बैंक का मुनाफा प्रभावित हो सकता है, लेकिन बैंक में इस स्थिति को मैनेज करने की क्षमता है.
रिटेल में स्टेबल ट्रेंड दिख रहा है. व्हीकल फाइनेंस पोर्टफोलियो भी मजबूत है. 70 फीसदी तो दोबार आने वाले कस्टमर हैं. ब्रोकरेज के अनुसार निचले स्तरों से शेयर में अच्छा बाउंस बैक देखने को मिलेगा. शेयर इस साल करीब 72 फीसदी टूट चुका है. ऐसे में आकर्षक वैल्युएशन पर चल रहे शेयर में निवेश करने का मौका बना है. आने वाले दिनों में यह 700 रुपये का भाव दिखा सकता है. यानी इसमें करीब 72 फीसदी ग्रोथ मिल सकती है.
NII 15 तिमाही में सबसे ज्यादा
इंडसइंड बैंक का नेट इंटरेसट इनकम चौथी तिमाही में 15 तिमाहियों में सबसे बेहतरीन रहा है. इस दौरान बैंक की लोन ग्रोथ 11 फीसदी रही है. हालांकि बैंक ने प्रोविजनिंग भी बढ़ाई है. नेट इंटरेस्ट इनकम सालाना आधार पर 45 फीसदी और तिमाही आधार पर करीब 5 फीसदी की बढ़त के साथ 3230 करोड़ रुपए के करीब रही है. हालांकि बैंक का मुनाफा अनुमान से कम रहकर 302 करोड़ रुपए ही रहा. नेट NPA में हल्का सुधार रहा है. इंडसइंड बैंक ने प्रोविजनिंग 1,043 करोड़ रुपए से बढ़कर 2,440 करोड़ रुपए की है. मैनेजमेंट का कहना है कि कोरोना की वजह से तिमाही के अंत में लोन ग्रोथ पर दबाव बना. महामारी की अनिश्चितता की वजह से प्रोविजनिंग में भी बढ़ोतरी की गई है.
इस साल सेंसेक्स 30 का बिगेस्ट लूजर
इंडसइंड बैंक इस साल सोमवार तक करीब 72 फीसदी टूट चुका है. इंडसइंड बैंक में यस बैंक संकट के बाद से डिपॉजिट ग्रोथ को लेकर चिंता बनी रही है. गवर्नमेंट से जुड़े अकाउंट में डिपॉजिट में करीब 75 फीसदी तक कमी आई है. छोटे ग्राहकों और कॉरपोरेट ने भी पूंजी निकाली. पिछले दिनों बैंक ने जानकारी दी कि कुल डिपॉजिट करीब 11 फीसदी तक कम हुआ. डिपॉजिट ग्रोथ को लेकर चिंता इतनी बढ़ गई कि बैंक के होलसेल अकाउंट से कई प्रीमेच्योर निकासी भी देखने को मिली. वहीं, कोरोना वायरस की वजह से भी इंडसइंड बैंक के शेयरों की जमकर पिटाई हुई है.
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